आज सोशल नेटवर्किंग की हमारी दुनिया में बहुत अहम जगह बन गई है। लाखों लोगों की दिनचर्या का हिस्सा बन चुका फेसबुक इस्तेमाल करने में आसान है और एंटरटेंमेंट का साधन भी है। इसमें कोई शक नहीं कि फेसबुक दुनिया की सबसे पॉपुलर साईट बन चुकी है। इस सोशल नेट्वर्किंग साईट ने इंटरनेट की दुनिया में सबसे ज्यादा यूजर्स को जोड़ा है। इसके यूनिक शेयरिंग और लाइक के कारण लोगों तक इसकी पहुंच बहुत तेजी से हुई। युवा तो युवा, बच्चे और बूढ़े भी फेसबुक से चिपके रहते हैं। एक पुरानी कहावत है कि सिक्के के दो पहलू होते हैं। फेसबुक की लोकप्रियता के चलते इसका गलत इस्तेमाल भी हो रहा है। कई लोग फेसबुक पर फेक अकाउंट बना कर दूसरों को परेशान करते हैं। इतना ही नहीं कई तरह के साइबर क्राइम का कारण भी फेसबुक बन चुका है। फेसबुक पर कई बार हैकर्स भी फेक अकाउंट का सहारा लेते हैं। 2012 में जारी की गई एक रिपोर्ट के मुताबिक 76 मिलियन अकाउंट फेक साबित हुए थे। इस वजह से सेलेब्रिटी पेज जैसे लेडी गागा के ऑफिशियल फैन पेज पर 65,505 फेक लाइक थे। खुद फेसबुक के पेज पर 1,24,919 फेक लाइक थे। फेक अकाउंट को पहचानना काफी आसान होता है। आज हम आपको बताने जा रहे हैं किस तरह से आप फेसबुक पर बने फेक अकाउंट को पहचान कर उससे बच सकते हैं। प्रोफाइल पिक्चर और अन्य फोटोज- किसी भी रियल अकाउंट होल्डर की कम से कम एक या दो असली तस्वीरें फेसबुक पर होती हैं। अगर आपको कोई रिक्वेस्ट आती है तो सबसे जरूरी है कि आप अंजान व्यक्ति की प्रोफाइल चेक करें। अगर उसमें कोई भी रियल फोटो नहीं दिखती है तो हो सकता है कि यह फेक प्रोफाइल हो। अगर कोई असली जैसी लगने वाली फोटो दिखती है तो उसे आप गूगल पर सर्च भी कर सकते हैं। इसके लिए 1. जिस फोटो को सर्च करना है उसे अपने डेस्कटॉप पर सेव करें। 2. अपना ब्राउजर खोलें। 3. गूगल इमेज पर जाकर फोटो को ड्रॉप कर दें। गूगल अपने आप उस फोटो से मिलती-जुलती हर फोटो आपको दिखा देगा। नेम सर्च- सिर्फ फोटो ही नहीं अगर आपको किसी भी प्रोफाइल के फेक होने का शक है तो उस प्रोफाइल नेम को भी गूगल सर्च कीजिए। अगर वो असली नाम होगा तो गूगल पर कोई ना कोई मिलता-जुलता सर्च रिजल्ट आपको मिल ही जाएगा। सेलेब्रिटी प्रोफाइल- अगर किसी ऐसे इंसान ने आपको प्रेंड रिक्वेस्ट भेजी है जो कोई लोकप्रिय इंसान होने का दावा करता है तो सावधान हो जाएं। कोई भी सेलेब ऐसे किसी को रिक्वेस्ट नहीं भेजता। एक सर्वे के मुताबिक ऐसे केस में 90 प्रतिशत फेक अकाउंट होते हैं। फेक जेंडर- एक रिसर्च के मुताबिक 95 प्रतिशत फेक अकाउंट किसी लड़की के नाम से बनाए जाते हैं। पुरुषों को लड़कियां आकर्षक लगती हैं और लड़कियों से किसी लड़की की अच्छी दोस्ती हो सकती है। इसलिए किसी भी अंजान लड़की को दोस्त बनाने से पहले पूरी तरह से जांच पड़ताल कर लें। ना करें अजनबियों से बात- अगर कोई आपको प्राइवेट मैसेज भेज रहा है तो उसकी रिक्वेस्ट एक्सेप्ट करने से पहले कम से कम 2 बार सोच लें। अगर आप किसी अजनबी की फ्रेंड रिक्वेस्ट एक्सेप्ट करना चाहते हैं तो उसके असली दोस्तों, प्रोफाइल पिक्चर के बारे में जांच-पड़ताल करने से झिझकिए मत। बर्थ डेट चेक करें- यह बात ध्यान देने योग्य है कि फेसबुक पर फेक अकाउंट बनाने वाले लोग 1/1/XX और 31/12/XX जैसी डेट ऑफ बर्थ का ज्यादा इस्तेमाल करते हैं। प्रोफाइल को ध्यान से पढ़ें- जो लोग फेक अकाउंट बनाते हैं उनकी प्रोफाइल में या तो एडुकेशन डीटेल्स होती ही नहीं है या फिर किसी ऊंचें संस्थान का नाम दिया होता है। कभी-कभी कोई 24 साल का इंसान दावा करता है कि वो किसी कंपनी का CEO है। ऐसे लोगों से बचना चाहिए। स्टेटस अपडेट, कमेंट, लाइक- अगर कोई फेक अकाउंट है तो उसे बनाने वाला इंसान फेसबुक के किसी भी सोशल ईवेंट पर कम रहेगा। ना ही ज्यादा स्टेटस अपडेट होगी और ना ही कमेंट और लाइक। ऐसे अकाउंट से बचना चाहिए। फेक यूजर को करें अनफ्रेंड- सारी जांच पड़ताल करने के बाद अगर आपको लगता है कि यूजर फेक है और उसकी रीक्वेस्ट आप एक्सेप्ट कर चुके हैं तो उसे फौरन अनफ्रेंड कर दें।
(ratantimes)